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Author Special Charak Samhita Guide Kaya Chikitsa Rog Nidan

Avabahuka – The Ultimate Frozen Shoulder Guide

Welcome back to the second post in our Ultimate Guide series! If you missed our previous post, you can catch up here. Today, we’re diving into Avabahuka—a condition that’s less frequently discussed but is essential to understand. We’ll cover all the details mentioned in the Ayurvedic texts. Let us know in the comments what you’d […]

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Astang Hridya Author Special Charak Samhita Guide Kaya Chikitsa Rare collection Rog Nidan

Prameha- The Ultimate Diabetes Guide

In today’s fast-paced world, the prevalence of Prameha (urinary disorders) is rising, largely due to lifestyle changes. You or someone you know might already be dealing with this condition or showing early signs. In this post, I’ve gathered essential information on Prameha to help you understand it better. If you find this helpful, please share […]

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Charak Samhita Kaya Chikitsa Rog Nidan Shalay Tantra Sushrut Samhita

Shotha | शोथ : Symptoms, Treatment – Modern correlation

शोथ (Shotha) या ‘श्वयथ्‘ शब्द ‘टुओश्वि-गतिवृद्ध्योः‘ से ‘टुओ’ की इत्संज्ञा कर शिव से वृद्धि अर्थ में अथुच् प्रत्यय लगाने पर ‘श्वयथु‘ शब्द बनता है, जिसका अर्थ= बढ़ा हुआ होता है। शोथ किसे कहते हैं:- शोथ/Shotha (swelling/ oedema) के समान कारणों वाले जो ग्रन्थि, विद्रधि, अलजी आदि रोग हैं तथा जिनकी आकृतियाँ भी अनेक प्रकार की […]

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Astang Hridya Rog Nidan Shalakya Tantra Sushrut Samhita

Indralupta | इंद्रलुप्त : Treatment of Alopecia in Ayurveda

इंद्रलुप्त (Indralupta), वह रोग जिसमें रोम की उत्पत्ति बंद हो जाती है। इसे Alopecia के नाम से भी जाना जाता है। निदान व सम्प्राप्ति/ Cause and Pathogenesis:- रोमकूपानुगं पित्तं वातेन सह मूर्च्छितम् । प्रच्यावयति रोमाणि ततः श्लेष्मा सशोणितः ।। रूणद्धि रोमकूपांस्तु ततोऽन्येषामसम्भवः । तदिन्द्रलुप्तं खालित्यं रुज्येति च विभाव्यते ।। (सु.नि. 13 / 32-33) वात, पित्त […]

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Kaya Chikitsa Rog Nidan Shalakya Tantra Sushrut Samhita

Darunaka | दारुणक : Treatment of Dandruff in Ayurveda

दारुणक (Darunaka) को Dandruff के नाम से भी जाना जाता है। जिस रोग में केश भूमि कठिन हो जाए, उसे दारुणक कहते है। इसका वर्णन निम्न आचार्यों ने किया है। दारुणेति कठिना। (माधव निदान क्षुद्र रोग 55/30) दारुण का अर्थ होता है कठिन। व जिस रोग में केश भूमि कठिन हो जाए, उसे दारुणक (Darunaka) […]

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Kumar Bhritya Rog Nidan Swasthavrit

Immunity & Ayurveda | व्याधिक्षमत्व : The Key to a Healthy Life

व्याधिक्षमत्व or Immunity दो शब्दों से मिलकर बना है। ‘व्याधि‘ = विविधं दुःखमादधातीति व्याधि:।। (च० चि० 1/5); अर्थात् आयुर्वेद में दुख का नाम ही व्याधि है। ‘क्षमत्व’ का अर्थ होता है = बनाना, गुस्सा रोकना, चुप रहना, या लड़ना (अमरकोष) व्याधिक्षमत्व को सर्वप्रथम चक्रपाणि ने बताया है। व्याधिक्षमत्वं व्याधिबल विशेधित्वं व्याध्युत्पाद प्रतिवन्धकत्वमिति यावत् ।। (च० […]

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Ajeerna Nidana ( अजीर्ण निदान ) : भेद, लक्षण, चिकित्सा

निदान :- अधिक जल पी लेना विषम भोजन करना संयोग विरूद्ध भोजन करना अधारणीय वेगाे को धारण करना निद्रा सही से न लेना दिन में सोना व रात्रि में जागना इर्षा, भय, क्रोध, लोभ, रोग, दीनता से पीड़ित भेद :- दोष भेद आचार्य माधव निदान आम अजीर्ण कफ सुश्रुत + विदग्धाजीर्ण पित्त सुश्रुत + विष्टब्धाजीर्ण […]

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Aamvaat Nidan ( आमवात निदान ) : लक्षण, भेद

According to Modern, Aamvaat can be co- related with Rheumatism/ Rheumatoid Arthritis. So, Today we will cover Causes and Diagnosis of Aamvaat with clinical features according to Ayurveda. निदान :- दूध – मछली को एक साथ खाना। भोजन के बाद व्यायाम करना। व्यायाम न करना और कफ वर्धक आहार का निरंतर सेवन करना। उपर्युक्त निदानों […]

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Udavart Rog Nidan ( उदावर्त रोग निदान ) : भेद, लक्षण

निरुक्ती :- अधारणीय वातदोष के वेगों को धारण करने (रोकने) से जो उसका मार्ग-परिवर्तन हो गया है अर्थात् जो प्रतिकूल मार्ग की ओर प्रवृत्त हो गया है, उसी को उदावर्त (Udavart) कहते हैं। निदान :- अपान वायु, मल, मूत्र, उबासी, आंसू, छीक, डकार, वमन, इन्द्रिय, शुक्र, भूख, प्यास, श्वास, उच्छवास क्रिया, निद्रा आदि वेगों को […]

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Anaha Rog Nidan ( आनाह रोग निदान ) : भेद, लक्षण

आमरस अथवा आम धीरे-धीरे इकट्ठा होकर प्रकृति वात दोष द्वारा बांधकर, जब स्वाभाविक रूप से नहीं निकल पाता है। तो उस विकार को आनाह (Anaha) कहते हैं। भेद :- भेद लक्षण आमज बार बार प्यास लगना, जुखाम होना, सिर में जलन, आमाशय में शूल, शरीर में भारीपन, हृदय की गति शीलता में रुकावट, बार-बार डकार […]